भाजपा में राजनीतिक नियुक्तियों के जल्द खुलेंगे दरवाजे,अध्यक्ष हेमंत खंडेलवाल ने शुरु की कवायद

मध्य प्रदेश में निगम-मंडलों की नियुक्तियां लंबे समय से लंबित हैं। पिछले एक साल से पार्टी के नेता बड़े नेताओं के बंगले झांक रहे हैं लेकिन उनके हाथ निराशा ही लगी है। पूर्व अध्यक्ष वीडी शर्मा का प्रयास था कि उनके कार्यकाल में निगम-मंडलों की नियुक्तियां हो जाएं जिससे वो अपने कुछ समर्थकों को निगम-मंडलों में अर्जेस्ट करवा सकें लेकिन सीएम और केन्द्रीय नेतृत्व के बीच वो सहमति नहीं बना पाए। गौरतलब है कि पूर्व अध्यक्ष का कार्यकाल दो साल पहले ही समाप्त हो चुका था लेकिन पहले विधानसभा औऱ फिर लोकसभा चुनाव के कारण भाजपा ने प्रदेश अध्यक्ष नहीं बदला लेकिन उन्हे वो अधिकार नहीं दिया गया कि राजनीतिक नियुक्तियों में हस्तक्षेप कर पाएं। अब नव निर्वाचित प्रदेश अध्यक्ष हेमंत खंडेलवाल और सीएम मोहन यादव नए सिरे से निगम-मंडलों की नियुक्ति को लेकर आगे बढ़ रहे हैं। Mukhbir को मिली सूचना के अनुसार इस बार निगम-मंडल की नियुक्ति में उन सीनियर विधायकों को मौका दिया जा सकता है जो सरकार मंत्री पद के दावेदार थे और किसी कारण वस उन्हे मंत्री नहीं बनाया जा सका है। लिहाजा वर्तमान संगठन की कोशिश है कि बगैर किसी विवाद और विरोध के ऐसे नेताओं को राजनीतिक नियुक्ति के माध्यम से अर्जेस्ट कर दिया जाए जिससे वो आने वाले समय में पार्टी के लिए समस्या का सबब न बन सकें। फिलहाल रामकृष्ण कुसमारिया को मध्य प्रदेश पिछड़ा वर्ग कल्याण आयोग का अध्यक्ष बना कर सरकार ने राजनीतिक नियुक्तियों की ओर पहला कदम बढ़ा दिया है। अब माना जा रहा है कि जल्द ही सरकार अन्य निगम-मंडलों में भी एक-एक करके नामों की घोषणा करना शुरु कर देगी।
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