प्रदेश में पहली बार चार औद्योगिक क्षेत्रों में वर्किंग वीमेन हॉस्टल का होगा निर्माण,कैबिनेट का बड़ा फैसला

इंदौर के राजवाड़ा दरबार हॉल में आयोजित हुई मंत्रि-परिषद की बैठक में विकाश की एक नई परिभाषा गढ़ी गई है। इस बैठक में 3 हजार 867 करोड़ रूपये की योजना और निर्माण कार्यों की स्वीकृति दी। मंत्रि-परिषद ने प्रदेश के युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए लोकमाता देवी अहिल्याबाई होल्कर प्रशिक्षण कार्यकम योजना की सैद्धांतिक स्वीकृति दी। इसमें युवाओं के लिए कौशल विकास कार्यक्रम संचालित किए जायेगे। योजना में जरूरतमंद व्यक्ति बैंक ब्याज में एक हजार रुपए प्रतिवर्ष छूट के साथ पूरे जीवनकाल के लिए अधिकतम 10 हजार रूपये प्रति व्यक्ति ऋण के ब्याज पर छूट प्राप्त कर सकेगा। प्रतिवर्ष योजना पर लगभग 100 करोड़ रूपए का व्यय किया जायेगा। मंत्रि-परिषद ने "मध्यप्रदेश महानगर क्षेत्र नियोजन एवं विकास अधिनियम-2025" को स्वीकृत करने का निर्णय लिया हैं। अधिनियम-2025 लागू होने के बाद "महानगर योजना समिति" एवं "महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण" का गठन किया जा सकेगा। साथ ही प्रदेश में "इंदौर-उज्जैन-देवास-धार" एवं भोपाल-सीहोर-रायसेन-विदिशा-ब्यावरा (राजगढ़)" के लिए महानगर योजना समिति एवं महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण का गठन राज्य सरकार द्वारा किया जा सकेगा। मंत्रि-परिषद ने प्रदेश में महिला श्रम शक्ति भागीदारी दर को बढ़ाने और उसे बेहतर वातावरण प्रदान करने महिलाओं के कामकाजी जीवन को आसान बनाने के लिए प्रदेश के 04 औद्योगिक क्षेत्र में 249 करोड़ 66 लाख रूपये की लागत से वर्किंग वीमेन हॉस्टल के निर्माण की स्वीकृति दी है। विक्रम उद्योगपुरी जिला उज्जैन, पीथमपुर सेक्टर-1 एवं 2 जिला धार, मालनपुर घिरौंगी (भिंड) एवं मंडीदीप (रायसेन) में कामकाजी महिला छात्रावासों अन्तर्गत कुल 26 हॉस्टलों और भवनों का निर्माण किया जायेगा। प्रत्येक में 222 बेड की क्षमता होगी। इस प्रकार कुल 5 हजार 572 बेड क्षमता के हॉस्टलों का निर्माण भारत सरकार के सहयोग से औद्योगिक नीति एवं निवेश प्रोत्साहन विभाग अन्तर्गत एमपीआईडीसी लि. द्वारा किया जायेगा। भारत सरकार द्वारा "स्पेशल असिस्टेंस टू स्टेटस फॉर कैपिटल इंवेस्टमेंट 2024-25" स्कीम में वर्किंग वीमेन हॉस्टल के निर्माण किया जाना है। वर्किंग वीमेन हॉस्टल्स में आधुनिक सुविधाएं, पर्याप्त पार्किंग, फूड कोर्ट और मनोरंजन तथा सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए स्थान उपलब्ध होगा। कामकाजी महिला छात्रावासों में महिलाओं की सुरक्षा, संरक्षा और नौकरी के अवसरों की उपलब्धता को प्राथमिकता दी जायेगी। रियायती दरों पर भोजन एवं न्यूनतम किराये पर बेड उपलब्ध कराया जायेगा।्र मस
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